दुर-भास

सृष्टि गोदी में नहीं है कोई

इतिहास जो हसे हास
१ दुयीया वास
ना आया भरपूर
भर-हास अभ्यास
खतम करो खडपूर खास


हरियाली निराली गोदी की जमीन
और
एक दुयीया अदर बज()र-बट्टू बीन

Published by

Unknown's avatar

mandalalit

to be a within 0-one-0 is to breathe for gut alone total mother nature

Leave a comment